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शुक्रवार, 14 जून 2019

Hindi Gospel Video "वार्तालाप" क्लिप 3 - सीसीपी की अफ़वाहों और लांछन काईसाईयों द्वारा ज़बर्दस्त खंडन


सीसीपी की अफ़वाहों और लांछन काईसाईयों द्वारा ज़बर्दस्त खंडन


सीसीपी ने खुले तौर पर अंत के दिनों के मसीह और प्रभु यीशु की यह कहकर निंदा की है कि वे दोनों कोई देहधारी परमेश्वर नहीं, बल्कि साधारण इंसान हैं, सीसीपी यह चाल इसलिये चल रही है ताकि ईसाई परमेश्वर से धोखा करके अपनी आस्था छोड़ दें। सीसीपी ने ईसाइयों को यह कहकर बदनाम किया है कि ये लोग परमेश्वर में विश्वास रखने के बजाय महज़ एक इंसान में विश्वास रखते हैं। सीसीपी यह भी अफवाह फैलाती है कि सर्वशक्तिमान परमेश्वर की कलीसिया किसी इंसान ने महज़ इसलिये बनाई है क्योंकि जिस इंसान का इस्तेमाल परमेश्वर करता है, यह वो इंसान है जो कलीसिया के सारे प्राशासनिक मामलों को देखता है। वास्तव में देहधारण क्या है? सर्वशक्तिमान परमेश्वर की कलीसिया कैसे अस्तित्व में आई, और इसकी बुनियाद किसने रखी? सीसीपी मसीह और सर्वशक्तिमान परमेश्वर की कलीसिया के बारे में जो अफवाहें फैलाती है, उनका खंडन करने के लिये ईसाई सच्चाई और तथ्यों का प्रयोग किस प्रकार कर रहे हैं?

      चमकती पूर्वी बिजली, सर्वशक्तिमान परमेश्वर की कलीसिया का सृजन सर्वशक्तिमान परमेश्वर के प्रकट होने और उनका काम, परमेश्वर यीशु के दूसरे आगमन, अंतिम दिनों के मसीह की वजह से किया गया था। यह उन सभी लोगों से बना है जो अंतिम दिनों में सर्वशक्तिमान परमेश्वर के कार्य को स्वीकार करते हैं और उसके वचनों के द्वारा जीते और बचाए जाते हैं। यह पूरी तरह से सर्वशक्तिमान परमेश्वर द्वारा व्यक्तिगत रूप से स्थापित किया गया था और चरवाहे के रूप में उन्हीं के द्वारा नेतृत्व किया जाता है। इसे निश्चित रूप से किसी मानव द्वारा नहीं बनाया गया था। मसीह ही सत्य, मार्ग और जीवन है। परमेश्वर की भेड़ परमेश्वर की आवाज़ सुनती है। जब तक आप सर्वशक्तिमान परमेश्वर के वचनों को पढ़ते हैं, आप देखेंगे कि परमेश्वर प्रकट हो गए हैं।


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गुरुवार, 13 जून 2019

"वार्तालाप" क्लिप 2 - ईसाई किस प्रकार सीसीपी के नास्तिक मत-परिवर्तन अभियान परपलटवार करते हैं


Hindi Gospel Video "वार्तालाप" क्लिप 2 - ईसाई किस प्रकार सीसीपी के नास्तिक मत-परिवर्तन अभियान परपलटवार करते हैं


सीसीपी ने ईसाइयों को परमेश्वर से विमुख करने और अपनी आस्था का त्याग करने के लिये, न केवल उन्हें शोहरत और ओहदे का लालच दिया है, बल्कि उसने नास्तिकवाद, भौतिकवाद, विकासवाद और वैज्ञानिक ज्ञान के सहारे उनका मत-परिवर्तन करने का प्रयास भी किया है। ईसाइयों ने सीसीपी के इस मत-परिवर्तन और धर्म-परिवर्तन का उत्तर कैसे दिया? ईसाई लोग परमेश्वर में विश्वास करने और परमेश्वर का अनुसरण करने के मार्ग को इतनी दृढ़ता से कैसे थामे हुए हैं? यह बेहतरीन लघु वीडियो आपके इन्हीं सवालों का जवाब देने के लिये तैयार की गई है।

      चमकती पूर्वी बिजली, सर्वशक्तिमान परमेश्वर की कलीसिया का सृजन सर्वशक्तिमान परमेश्वर के प्रकट होने और उनका काम, परमेश्वर यीशु के दूसरे आगमन, अंतिम दिनों के मसीह की वजह से किया गया था। यह उन सभी लोगों से बना है जो अंतिम दिनों में सर्वशक्तिमान परमेश्वर के कार्य को स्वीकार करते हैं और उसके वचनों के द्वारा जीते और बचाए जाते हैं। यह पूरी तरह से सर्वशक्तिमान परमेश्वर द्वारा व्यक्तिगत रूप से स्थापित किया गया था और चरवाहे के रूप में उन्हीं के द्वारा नेतृत्व किया जाता है। इसे निश्चित रूप से किसी मानव द्वारा नहीं बनाया गया था। मसीह ही सत्य, मार्ग और जीवन है। परमेश्वर की भेड़ परमेश्वर की आवाज़ सुनती है। जब तक आप सर्वशक्तिमान परमेश्वर के वचनों को पढ़ते हैं, आप देखेंगे कि परमेश्वर प्रकट हो गए हैं।

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शुक्रवार, 7 जून 2019

आज की आशीषों को तुम्हें संजोना चाहिए



  • I
  • जब ईश्वर हाथों से जग को ऊँचा करता है, लोग खुशी से झूमते हैं।
  • वे और दुखी नहीं रहते, वे उस पर निर्भर होते हैं।
  • जब ईश्वर अपना चेहरा छिपाता है, नीचे दबा कर लोगों को,
  • जल्द ही दम घुटता है उनका, मुश्किल से जीते हैं।
  • वे मृत्यु से डर कर परमेश्वर को पुकारते हैं।
  • क्योंकि वे देखना चाहते हैं वो दिन जब उसकी महिमा होगी।
  • ईश्वर ने कइयों को जग में भेजा और कइयों को निकाला है।
  • और ईश्वर के हाथों से कई गुज़रे।
  • कई आत्माएं अधोलोक में फेंकी गईं,
  • कई रहे हैं देह में, कई फिर से जन्मे हैं।
  • फिर भी कोई भी स्वर्ग के राज्य के आशीषों का आनंद न ले सका।
  • II
  • परमेश्वर का दिन परम है मानव के जीने के लिए।
  • उनमें तड़प है उसके महान दिन की, इसलिए वे जीवित हैं।
  • ईश्वर के मुँह से निकला आशीष है कि अंत के दिनों में,
  • लोग हैं ईश्वर की महिमा को निहारने के क़ाबिल।
  • समय के साथ छोड़ा जग को कइयों ने अनिच्छा और मायूसी से,
  • और कई आए दुनिया में आशा और आस्था के साथ।
  • ईश्वर ने कइयों को जग में भेजा और कइयों को निकाला है।
  • और ईश्वर के हाथों से कई गुज़रे।
  • कई आत्माएं अधोलोक में फेंकी गईं,
  • कई रहे हैं देह में, कई फिर से जन्मे हैं।
  • फिर भी कोई भी स्वर्ग के राज्य के आशीषों का आनंद न ले सका।
  •  
  • "वचन देह में प्रकट होता है" से
      चमकती पूर्वी बिजली, सर्वशक्तिमान परमेश्वर की कलीसिया का सृजन सर्वशक्तिमान परमेश्वर के प्रकट होने और उनका काम, परमेश्वर यीशु के दूसरे आगमन, अंतिम दिनों के मसीह की वजह से किया गया था। यह उन सभी लोगों से बना है जो अंतिम दिनों में सर्वशक्तिमान परमेश्वर के कार्य को स्वीकार करते हैं और उसके वचनों के द्वारा जीते और बचाए जाते हैं। यह पूरी तरह से सर्वशक्तिमान परमेश्वर द्वारा व्यक्तिगत रूप से स्थापित किया गया था और चरवाहे के रूप में उन्हीं के द्वारा नेतृत्व किया जाता है। इसे निश्चित रूप से किसी मानव द्वारा नहीं बनाया गया था। मसीह ही सत्य, मार्ग और जीवन है। परमेश्वर की भेड़ परमेश्वर की आवाज़ सुनती है। जब तक आप सर्वशक्तिमान परमेश्वर के वचनों को पढ़ते हैं, आप देखेंगे कि परमेश्वर प्रकट हो गए हैं।

सोमवार, 27 मई 2019

परमेश्वर है मनुष्य का अनंत सहारा



  • I
  • फिर जी उठा यीशु मगर,
  • था इन्सान के साथ उसका काम और दिल।
  • अपने प्रकटन के ज़रिये उसने इन्सान को बताया
  • रूप चाहे हो जो भी, पर रहेगा वो उनके साथ ही।
  • वो चलेगा उनके साथ,
  • रहेगा साथ वो हर जगह, हर समय,
  • करेगा आपूर्ति और चरवाही, देगा उन्हें खुद को देखने और छूने,
  • ताकि न हों असहाय वे फिर कभी, वे फिर कभी।
  • अपने पुनरुत्थान के बाद यीशु ने दिखाई
  • इन्सान के लिए परमेश्वर की आशा और चिंता,
  • और दिखाया कि परमेश्वर करता इन्सान की परवाह और उसे है संजोता।
  • यह तो है पहले जैसा, और कभी नहीं है बदला।
  • II
  • यीशु चाहता था कि लोग जानें
  • कि नहीं हैं वे इस दुनिया में अकेले।
  • उनकी परवाह करता परमेश्वर, है वो उनके साथ में,
  • उस पर वे सदा आसरा रख सकते हैं।
  • अपने हर अनुयायी का वो परिवार है।
  • परमेश्वर के आसरे, इन्सान न कमज़ोर, न अकेला है।
  • जो उसे पाप-बलि के रूप में स्वीकार करते हैं।
  • वो पाप के बंधन में और न रहेंगे।
  • III
  • जी उठने के बाद इन्सान के वास्ते,
  • यीशु के काम देखने में लगते थे छोटे।
  • लेकिन परमेश्वर के लिए उनके अर्थ थे बड़े,
  • उनके मूल्य और महत्व भी थे बड़े।
  • परमेश्वर जो करता है आरम्भ, उसे खत्म भी वही करता है।
  • भिन्न चरण और योजनायें, दिखाते हैं उसकी बुद्धि,
  • वो दिखाते हैं उसके महान कर्म और सर्वसामर्थता उसकी,
  • और दिखाते हैं उसका प्रेम और दया भी।
  • IV
  • परमेश्वर के काम में सबसे मुख्य है
  • कि वो इन्सान की बहुत परवाह करता है,
  • और उसके लिए सच में है वो चिंता से भरा।
  • ये हैं भावनाएं ऐसी जिन्हें वो अनदेखा नहीं कर सकता, कर सकता।
  • अपने पुनरुत्थान के बाद यीशु ने दिखाई
  • इन्सान के लिए परमेश्वर की आशा और चिंता,
  • और दिखाया कि परमेश्वर करता इन्सान की परवाह और उसे है संजोता।
  • यह तो है पहले जैसा, और कभी नहीं है बदला,
  • नहीं है बदला, नहीं है बदला, नहीं है बदला।
  •  
  • "वचन देह में प्रकट होता है" से

      चमकती पूर्वी बिजली, सर्वशक्तिमान परमेश्वर की कलीसिया का सृजन सर्वशक्तिमान परमेश्वर के प्रकट होने और उनका काम, परमेश्वर यीशु के दूसरे आगमन, अंतिम दिनों के मसीह की वजह से किया गया था। यह उन सभी लोगों से बना है जो अंतिम दिनों में सर्वशक्तिमान परमेश्वर के कार्य को स्वीकार करते हैं और उसके वचनों के द्वारा जीते और बचाए जाते हैं। यह पूरी तरह से सर्वशक्तिमान परमेश्वर द्वारा व्यक्तिगत रूप से स्थापित किया गया था और चरवाहे के रूप में उन्हीं के द्वारा नेतृत्व किया जाता है। इसे निश्चित रूप से किसी मानव द्वारा नहीं बनाया गया था। मसीह ही सत्य, मार्ग और जीवन है। परमेश्वर की भेड़ परमेश्वर की आवाज़ सुनती है। जब तक आप सर्वशक्तिमान परमेश्वर के वचनों को पढ़ते हैं, आप देखेंगे कि परमेश्वर प्रकट हो गए हैं।

रविवार, 22 जुलाई 2018

परमेश्वर का ज्ञान होने से प्राप्त परिणाम


परमेश्वर का ज्ञान होने से प्राप्त परिणाम

इस दिन तक,

आप यह न महसूस करेंगे कि रचनाकार

अब एक पहेली नहीं है,

कि वह रचनाकार आपसे कभी भी छिपा हुआ नहीं रहा,

कि वह रचनाकार

सदोम की भ्रष्टताः मुनष्यों को क्रोधित करने वाली, परमेश्वर के कोप को भड़काने वाली

सर्वप्रथम, आओ हम पवित्र शास्त्र के अनेक अंशों को देखें जो "परमेश्वर के द्वारा सदोम के विनाश" की व्याख्या करते हैं। (उत्पत्ति 19...