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मंगलवार, 28 मई 2019

इंसान को संभालने का काम है शैतान को हराने का काम



  • I
  • न्याय हो या ताड़ना, परमेश्वर के तमाम कामों का शैतान ही निशाना है,
  • इनका मकसद इंसान को बचाना और शैतान को हराना है।
  • एक ही लक्ष्य है परमेश्वर के काम का: अंत तक शैतान से लड़ना है।
  • विजयी होने तक परमेश्वर आराम न करेगा।
  • क्योंकि परमेश्वर के काम का निशाना है शैतान,
  • चूँकि शैतान के कब्ज़े में है भ्रष्ट हुए इंसान,
  • गर जंग शुरू न की परमेश्वर ने शैतान के ख़िलाफ़,
  • या अलग न किया इंसान को शैतान से, तो कभी पाया न जा सकेगा उसे।
  • गर कब्ज़े में रहा इंसान शैतान के, और पाया न जा सका उसे,
  • तो अजेय साबित होगा शैतान, हराया नहीं गया है उसे।
  • बड़े लाल अजगर के ख़िलाफ़ जंग मूल है
  • परमेश्वर के छ: हज़ार साल के काम का,
  • इंसान के प्रबंधन का काम भी
  • शैतान को हराने का काम है।
  • II
  • नए आयाम में लाने के लिये इंसान को,
  • छ: हज़ार साल जंग की है, काम किया है परमेश्वर ने,
  • शैतान जब हार जाएगा, इंसान आज़ाद हो जाएगा।
  • हर चरण इंसान की असली ज़रूरतों, अपेक्षाओं के अनुरूप है,
  • ताकि हरा सके शैतान को परमेश्वर।
  • गर कब्ज़े में रहा इंसान शैतान के, और पाया न जा सका उसे,
  • तो अजेय साबित होगा शैतान, हराया नहीं गया है उसे।
  • बड़े लाल अजगर के ख़िलाफ़ जंग मूल है
  • परमेश्वर के छ: हज़ार साल के काम का,
  • इंसान के प्रबंधन का काम भी
  • शैतान को हराने का काम है।
  • III
  • छ: हज़ार साल की प्रबंधन योजना में,
  • पहले चरण में व्यवस्था का काम किया परमेश्वर ने।
  • दूसरे चरण में अनुग्रह के युग का काम किया परमेश्वर ने।
  • तीसरे चरण में इंसान को जीतता है परमेश्वर।
  • उस हद अनुसार काम किया जाता है
  • जिस तक भ्रष्ट कर दिया है इंसान को शैतान ने।
  • इस काम का लक्ष्य शैतान को हराना है,
  • इन तीनों चरणों का मकसद शैतान को हराना है।
  • बड़े लाल अजगर के ख़िलाफ़ जंग मूल है
  • परमेश्वर के छ: हज़ार साल के काम का,
  • इंसान के प्रबंधन का काम भी
  • शैतान को हराने का काम है।
  •  
  • "वचन देह में प्रकट होता है" से

      चमकती पूर्वी बिजली, सर्वशक्तिमान परमेश्वर की कलीसिया का सृजन सर्वशक्तिमान परमेश्वर के प्रकट होने और उनका काम, परमेश्वर यीशु के दूसरे आगमन, अंतिम दिनों के मसीह की वजह से किया गया था। यह उन सभी लोगों से बना है जो अंतिम दिनों में सर्वशक्तिमान परमेश्वर के कार्य को स्वीकार करते हैं और उसके वचनों के द्वारा जीते और बचाए जाते हैं। यह पूरी तरह से सर्वशक्तिमान परमेश्वर द्वारा व्यक्तिगत रूप से स्थापित किया गया था और चरवाहे के रूप में उन्हीं के द्वारा नेतृत्व किया जाता है। इसे निश्चित रूप से किसी मानव द्वारा नहीं बनाया गया था। मसीह ही सत्य, मार्ग और जीवन है। परमेश्वर की भेड़ परमेश्वर की आवाज़ सुनती है। जब तक आप सर्वशक्तिमान परमेश्वर के वचनों को पढ़ते हैं, आप देखेंगे कि परमेश्वर प्रकट हो गए हैं।

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